कट्टर हिंदूवादी नेता टी राजा सिंह ने भाजपा से दिया इस्तीफा, सामने आया ये कारण….।

हैदराबाद (तेलंगाना) : दक्षिण भारतीय के कद्दावर नेता टाइगर राजा के इस्तीफे से हड़कंप मचा गया है, इस मामले में जानकारी सामने आई है कि तेलंगाना भाजपा में इस वक्त काफी हड़कंप मचा हुआ है लेकिन इस हड़कंप की खबर पूरे देश में गूंज रही है। दरअसल भाजपा के फायरब्रांड और हिंदुत्ववादी छवि के लिए पहचाने जाने वाले नेता और गोशामहल से विधायक टी राजा सिंह ने बीजेपी से इस्तीफा दे दिया है। टी राजा सिंह ने तेलंगाना भाजपा अध्यक्ष के तौर पर एन रामचंद्र राव के नाम पर भाजपा की सहमति बनने के बाद ये फैसला लिया गया है। इस मामले में कहा जा रहा है कि इस फैसले से टी राजा सिंह नाराज चल रहे हैं।

कौन हैं टी राजा सिंह?

टी राजा सिंह को टाइगर राजा सिंह के नाम से जाना जाता है। वह तेलंगाना के गोशामहल विधानसभा क्षेत्र से अब तक भाजपा के विधायक थे। उनका जन्म 15 अप्रैल 1977 को हैदराबाद के धूलपेट गांव में एक लोधी समुदाय के परिवार में हुआ था। वे कट्टर हिंदुत्ववादी विचारों के लिए जाने जाते हैं और अपने विवादास्पद बयानों के कारण अक्सर सुर्खियों में रहते हैं। हैदराबाद में उनका काफी दबदबा है, उनकी एक आवाज पर हजारों लोग एकजुट हो जाते है।

टी राजा सिंह ने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत 2009 में तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) से की थी। इस दौरान वह ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम के सदस्य चुने गए थे लेकिन साल 2014 में उन्होंने भाजपा ज्वाइन कर ली। इसके बाद वह 2014, 2018 और 2023 में गोशामहल विधानसभा सीट से जीते। 2018 में वे भाजपा के एकमात्र विधायक थे, जिन्होंने तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस, अब बीआरएस) की लहर के बावजूद जीत दर्ज की थी। 

2018 में बीजेपी कर चुकी है निलंबित, फिर लिया था वापस :

आपको बता दें कि अगस्त 2022 में पैगंबर मुहम्मद पर विवादित टिप्पणी के कारण भाजपा ने टी राजा सिंह को निलंबित कर दिया था। इस दौरान वह गिरफ्तार भी हुए थे। लेकिन अक्टूबर 2023 में उनका निलंबन रद्द हुआ और उन्हें 2023 तेलंगाना विधानसभा चुनाव के लिए गोशामहल से टिकट दिया गया था। वहीँ 30 जून 2025 को एक बार फिर टी राजा सिंह और भाजपा के बीच मतभेद हुआ है और उन्होंने टी राजा ने भाजपा से इस्तीफा दे दिया है, जिससे पार्टी में हड़कम्प मच गया है। अब देखना ये होगा कि भाजपा उन्हें फिर से मना पाती है, या फिर टी राजा किसी नई पार्टी का दामन थामते हैं। चर्चा ये भी है कि क्या टी राजा सिंह अपनी नई पार्टी बनाएंगे? इन सभी सवालों के जवाब भविष्य में ही मिल पाएंगे। इस्तीफे के बाद भी राजा सिंह ने स्पष्ट किया कि वह हिंदुत्व की विचारधारा और गोशामहल के लोगों की सेवा के लिए प्रतिबद्ध रहेंगे। उन्होंने कहा, “मैं पीएम मोदी, अमित शाह और योगी आदित्यनाथ का समर्थक बना रहूंगा, भले ही मैं पार्टी में न रहूं।”