बस्तर। दंतेवाड़ा के अरनपुर में हुए नक्सली हमले की गूंज पूरे देश में सुनायी पड़ी है। 10 जवान की शहादत ने पूरे प्रदेश को हिला दिया है। 26 अप्रैल को हुए ब्लास्ट के बाद से लगातार अलग-अलग पहलुओं की जांच चल रही है। पुलिस की तरफ से इस घटना से संबंध में अब तक मिली जानकारी को मीडिया के साथ साक्षा किया गया है। जांच में पता चला है कि जिस IED ब्लास्ट से पुलिस की गाड़ी उड़ायी गयी, वो IED सड़क के नीचे सुरंग खोदकर बिछायी गयी थी। डेढ़ से दो महीने पहले ही ये विस्फोटक बिछाये जाने की आशंका है।
दिनांक 25.04.2023 की दरम्यानी रात डीआरजी दंतेवाड़ा एवं सीएएफ कैम्प नहाड़ी का संयुक्त बल थाना अरनपुर क्षेत्र में माओवादियों की उपस्थिति होने की आसूचना पर नक्सल अभियान पर रवाना हुआ था। दिनांक 26.04.2023 के प्रातः लगभग 06.30 बजे पुलिस नक्सली मुठभेड़ हुई। घटना स्थल का सर्चिंग करने पर 02 संदिग्ध माओवादी 01. मिलिशिया सदस्य लखमा कवासी पिता गंगा कवासी उम्र 30 वर्ष साकिन पोरोककाड़ी थाना जगरगुण्डा जिला सुकमा 02. मिलिशिया सदस्य सन्ना उर्फ कोसा माड़वी पिता हुंगा माड़वी उम्र 25 वर्ष साकिन पोरोककाड़ी थाना जगरगुण्डा जिला सुकमा पकड़ाये। घटना स्थल से पिट्ठू, नक्सल साहित्य, दैनिक उपयोगी समाग्री आदि प्राप्त हुये। जिस पर थाना अरनपुर में अपराध क्रमांक 04/2023 धारा 147,148,149,307 भादवि. 25,27 आर्म्स एक्ट 13(1), 38(2), 39(2) यूएपीए एक्ट के तहत् दरभा डिवीजन कमेटी के माओवादी कैेडर जगदीश, लख्खे, लिंगे, सोमडू, महेश, हिड़मा, उमेश, देवे, नंद कुमार, लखमा, कोसा, मुकेश तथा अन्य के विरूद्व अपराध पंजीबद्व किया गया है।
मुठभेड़ में घायल माओवादी कोसा उर्फ सन्ना के जांघ व हाथ की कोहनी में गोली लगी थी जिसे तत्काल उपचार की आवश्यकता थी, जिसे उपचार हेतु डीआरजी की एक टीम जिला मुख्यालय लेकर आ रही थी, डीआरजी टीम 03 गाड़ियों में थाना अरनपुर से रवाना हुई थी माओवादियों द्वारा पूर्व से घात लगाकर डीआरजी टीम की एक गाड़ी को थाना अरनपुर से 02 किमी, पूर्व पेड़का चौक पर आईईडी ब्लास्ट किया गया एवं फायरिंग की गई जिस पर अपराध क्रमांक 05/2023 धारा 147,148,149,307,302 भादवि. 4,5 वि.प.अधि.नियम 25,27 आर्म्स एक्ट 13(1), 38(2), 39(2) यूएपीए एक्ट के तहत् दरभा डिवीजन के माओवादी कैेडर चैतू, देवा, मंगतू, रनसाय, जयलाल, बामन, सोमे, राकेश, भीमा एवं अन्य के विरूद्व अपराध पंजीबद्व किया गया है।
घटना स्थल निरीक्षण उपरांत प्रथम दृष्टया यह प्रतित हो रहा है कि माओवादी द्वारा उक्त आईईडी को लगभग डेढ़ से दो महीने पहले सड़क के किनारे से सुरंग खोदकर लगाया गया जिसके तार को सड़क के किनारे घने जंगल से आड़ लेकर जमीन के नीचे लगभग 2-3 इंच दबाकर लगभग 150 मीटर दूर तक ले जाकर मौका देख कर घटना दिनांक 26/04/2023 को विस्फोट की गई।
उक्त रोड में समय- समय पर डी-माईंनिंग की कार्यवाही की जाती है ऐसे प्रतीत होता है कि उक्त आईईडी सुरंग खोद कर (foxhole mechanism) सड़क के काफी नीचे लगाई गई थी जिसके कारण डी-माईंनिंग के दौरान detect नहीं हो पाया। जांच उपरांत अतिरिक्त जानकारी प्रदाय की जायेगी।
घटना में 10 डीआरजी जवान क्रमषः 01. प्रआर.74 जोगा सोढ़ी, 02. प्रआर.965 मुन्ना राम कड़ती, 03, प्रआर.901 संतोष तामो, 04. नव आर. 542 दुल्गो मण्डावी, 05. नव आर. 289 लखमू मरकाम, 06. नव आर. 580 जोगा कवासी, 07. नव आर.888 हरीराम मण्डावी, 08. गोपनीय सैनिक राजू राम करटम, 09. गोपनीय सैनिक जयराम पोड़ियाम, 10. गोपनीय सैनिक जगदीश कवासी एवं 01 वाहन चालक धनीराम यादव शहीद हो गये। शहीद जवानों में से 05 जवान क्रमशः प्रआर.74 जोगा सोढ़ी, प्रआर.965 मुन्ना राम कड़ती, नव आर.888 हरीराम मण्डावी, नव आर. 580 जोगा कवासी, गोपनीय सैनिक राजू राम करटम शासन की पुनर्वास नीति के तहत् आत्मसमर्पण करने के पश्चात् पुलिस विभाग डीआरजी में कार्यरत् थे।
दिनांक 26/04/2023 की घटना में शहीद हुये समस्त डीआरजी जवान एवं वाहन चालक को विभागीय प्रावधान तथा शासन की नक्सल पीड़ित पुनर्वास नियम के अन्तर्गत अनुकम्पा नियुक्ति, आर्थिक सहायता एवं समस्त सुविधाए आगामी दिनो में त्वरित उपलब्ध करायी जायेगी।
घटना के पश्चात् आस-पास के क्षेत्रों में लगातार पुलिस एवं सीआरपीएफ बल द्वारा सर्चिंग अभियान जारी है।