रायपुर : छत्तीसगढ़ में भाजपा की बड़ी जीत के बाद अब चुनाव के दौरान जनता के साथ किए गए वादों को पूरा करने की चुनौती होगी। राज्य पर कांग्रेस सरकार मुफ्त की रेवड़ियों को बांटने के चक्कर में 82 हजार करोड़ से ज्यादा का का कर्ज लादकर गई है, साथ में उसे उतारना भी आसान नहीं होगा। इसे लेकर पूर्व मुख्यमंत्री डा रमन सिंह ने प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उन्होंने कहा, छत्तीसगढ़ की इस नई सरकार में हमारे लिए पहली चुनौती अपने घोषणापत्र में किए गए वादों को पहली कैबिनेट से ही लागू करना होगा। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा दी गई गारंटी और हमारी पार्टी द्वारा किए गए वादों को प्राथमिकता दी जाएगी।
छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने कहा, “छत्तीसगढ़ की इस नई सरकार में हमारे लिए पहली चुनौती अपने घोषणापत्र में किए गए वादों को पहली कैबिनेट से ही लागू करना होगा…प्रधानमंत्री मोदी द्वारा दी गई गारंटी और हमारी पार्टी द्वारा किए गए वादों को प्राथमिकता दी…
#WATCH रायपुर: छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने कहा, "छत्तीसगढ़ की इस नई सरकार में हमारे लिए पहली चुनौती अपने घोषणापत्र में किए गए वादों को पहली कैबिनेट से ही लागू करना होगा…प्रधानमंत्री मोदी द्वारा दी गई गारंटी और हमारी पार्टी द्वारा किए गए वादों को प्राथमिकता दी… pic.twitter.com/wn1AkaG82a
छत्तीसगढ़ बीजेपी अध्यक्ष अरुण साव ने कहा, कांग्रेस के कुशासन का अंत हुआ है। छत्तीसगढ़ की जनता ने भाजपा पर भरोसा किया है, मैं जनता और भाजपा के कार्यकर्ताओं का भी आभार व्यक्त करता हूं।
#WATCH रायपुर: छत्तीसगढ़ बीजेपी अध्यक्ष अरुण साव ने कहा, "…कांग्रेस के कुशासन का अंत हुआ है। छत्तीसगढ़ की जनता ने भाजपा पर भरोसा किया है…मैं जनता और भाजपा के कार्यकर्ताओं का भी आभार व्यक्त करता हूं।" pic.twitter.com/iL6VqezAbt
छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव 2023 के जनादेश ने पांच साल बाद एक बार फिर भाजपा की वापसी करवा दी है। इस बार भाजपा ने 90 सदस्यीय विधानसभा में से 54 में जीत दर्ज की है, जबकि कांग्रेस 35 सीटों पर ही जीत पाई है, गोंडवाना गणतंत्र पार्टी एक सीट पाली-तानाखार से जीती। जबकि भाजपा की आज तक जीत में इस बार की जीत काफी बड़ी है।
भाजपा ने पहली बार 50 से ज्यादा सीटें जीती है, यह अब तक की भाजपा की सबसे बड़ी जीत है। इसके पहले वर्ष 2003 में 50, 2008 में 50 और 2013 में भाजपा ने 49 सीटें जीती थीं। वहीं देर रात साढ़े नौ बजे मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्यपाल बिस्वभूषण हरिचंदन इस्तीफा सौंप दिया।