टिकरापारा थाना के चार पुलिसकर्मियों को सात दिन तक बर्तन साफ करने और जूते पॉलिश करने की मिली सजा। 

रायपुर : पगड़ी समाज की धार्मिक आस्थाओं से जुड़ा हुआ विषय है, यह सिक्ख समाज का सम्मान माना जाता है। मामले में सिक्ख समाज के ड्राइवर की पगड़ी गिराने और मारपीट करने के मामले में पुलिसकर्मियों ने सिक्ख समाज से माफी मांगी है। सिक्ख समाज ने चारों सिपाहियों को सात दिन तक गुरुद्वारा में सेवा करने का दंड दिया है, चारों पुलिसकर्मी अब गुरूद्वारे में सेवा देंगे। जानकारी के अनुसार आठ जून को सिक्ख समाज के ड्राइवर बहादुर सिंह से चार सिपाहियों ने बाल खींचकर मारपीट की थी।

उक्त घटना का सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया था। इस घटना के बाद सिक्ख समाज ने इसकी कड़ी निंदा की थी। घटना को लेकर गृहमंत्री और एसएसपी से भी शिकायत हुई थी। शिकायत के बाद एसएसपी ने सिपाही चंद्रभान सिंह भदौरिया, सुरेंद्र सिंह सेंगर, रविन्द्र सिंह राजपूत और दानेश्वर साहू को सस्पेंड कर दिया था।

8 जून को हुई थी ये घटना :

राजधानी के थाना टिकरापारा के अंतर्गत आने वाले अंतर राज्यीय बस स्टैंड में विगत 8 जून को थाने के चार सिपाहियों द्वारा एक सिक्ख युवक की पगड़ी गिराकर, उसके बाल खींचकर मारपीट करने के मामले में पीड़ित युवक ने सिक्ख समाज को अपने साथ हुए धार्मिक अपमान के बारे में जानकारी दी थी, जिसके बाद मामले में बवाल मचा था। घटना के सीसीटीवी फुटेज में टिकरापारा थाने के सिपाहियों चंद्रभान सिंह भदोरिया, सुरेंद्र सिंह सेंगर, रविंद्र सिंह राजपूत और दानेश्वर साहू द्वारा बहादुर सिंह के साथ किए गए बदसलूकी को देखकर समाज ने इसकी निंदा करते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एवं गृह मंत्री को ज्ञापन सौंप कर चारों सिपाहियों पर धारा 295 ए के तहत जुर्म दर्ज कर कार्यवाही की मांग की थी, जिसको लेकर आवश्यक कार्यवाही भी की गई मामले में पुलिसकर्मियों को निलंबित भी किया गया था, फिर भी उक्त कार्यवाही से सिक्ख समाज को तसल्ली नहीं मिली।

गुरुद्वारे में माथा टेकरकर मांगी अपनी गलती :

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मामले को लेकर सिक्ख समाज की शिकायत पर त्वरित कार्यवाही करते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक संतोष कुमार सिंह ने दो सिपाहियों को सस्पेंड कर दिया था, परंतु इस कार्यवाही से सिक्ख समाज संतुष्ट नहीं था। युवक के साथ मारपीट करने वाले सिपाहियों ने तेलीबांधा स्थित गुरुद्वारा में श्री गुरु ग्रंथ साहिब के सामने मात्था टेक कर अपनी गलती स्वीकार की और सिक्ख समाज से अपनी गलती की क्षमा मांगी, जिसको लेकर माफ़ी दी गई और उसके साथ ही गुरूद्वारे में सेवा करने का दंड भी दिया गया।

इधर, स्टेशन रोड गुरुद्वारे के अध्यक्ष सुरेंद्र सिंह छाबड़ा ने सिपाहियों के आरोपों को गंभीर बताते हुए कहा कि समाज इन्हें पूरी तरह से माफ नहीं करेगा, समाज ने इन्हें दोबारा किसी सिक्ख का धार्मिक अपमान न करने की चेतावनी देते हुए सात दिनों तक गुरुद्वारे में बर्तन साफ करने और गुरुद्वारा आने वाली संगत के जूतों की सेवा करने की सजा तय की है। जिसको लेकर आरोपी पुलिसकर्मी सात दिनों तक गुरूद्वारे में अपनी सेवायें देंगे।

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