बिलासपुर : छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (CGPSC) के फर्जीवाड़ा केस में सीबीआई ने रायपुर, बिलासपुर, दुर्ग-भिलाई समेत छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों में छापेमारी की है। यह छापेमारी सीजीपीएससी द्वारा आयोजित परीक्षाओं में गड़बड़ी और भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच के तहत की गई है। CGPSC में नियुक्तियों को लेकर घोटाले की बात सामने आई थी। सीबीआई की टीम ने बुधवार सुबह राजधानी सहित छत्तीसगढ़ के कई अन्य जिलों में भी छापेमारी की है। सीबीआई ने छापेमारी के दौरान कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और डिजिटल डेटा बरामद किए हैं। जानकारी के अनुसार कांग्रेस नेता राजेंद्र शुक्ल के बिलासपुर के ठिकानों पर छापा मारा गया है।वहीं इस मामले में राजेंद्र शुक्ला के बेटे स्वर्णिम शुक्ला का नाम भी सामने आया है।
स्वर्णिम शुक्ला वर्तमान में डिप्टी कलेक्टर के पद पर पदस्थ हैं। मामले की जांच के दौरान CBI ने स्वर्णिम शुक्ला को लेकर भी सवाल उठाए गये थे। फिलहाल CBI की टीम हाईटेक बस स्टैंड के पास स्थित नए मकान में भी पहुंची है। टीम ने घर के कई हिस्सों की जांच की और जरूरी दस्तावेज खंगाले है। PSC के फर्जीवाड़े के मामले में टीम लगातार जांच कर रही है और संबंधित लोगों से पूछताछ कर रही है।
पीएससी घोटाले की जांच के दौरान पहली बार सीबीआई की टीम बिलासपुर पहुंची है। बुधवार सुबह 6 बजे सीबीआई की 8 सदस्यीय टीम ने कांग्रेस नेता राजेंद्र शुक्ला के पुराने मकान पहुंची। जानकारी के अनुसार, उस समय राजेंद्र शुक्ला घर पर नहीं थे। सीबीआई की टीम शुक्ला परिवार के बाकी सदस्यों से पूछताछ की। घर में मौजूद लोगों ने जांच टीम को बताया कि राजेंद्र शुक्ला दो दिन से घर से बाहर हैं,जिसके बाद सीबीआई के अधिकारियों ने घर की जांच और शुक्ला परिवार के सदस्यों से बंद कमरे में पूछताछ की।
वहीं सीबीआई की टीम ने राजभवन के पूर्व सचिव अमृत खलको के रायपुर के स्वर्णभूमि स्थित आवास पर छापेमारी की है। राजभवन के पूर्व सचिव के बेटे और बेटियों का भी छत्तीसगढ़ राज्य सेवा भर्ती परीक्षा 2021 में चयन हुआ था। सीबीआई की इस कार्यवाही ने प्रदेश भर में हलचल मचा दी है और इससे सीजीपीएससी द्वारा कराए गए परीक्षाओं की पारदर्शिता पर सवाल खड़े हो गए हैं। इसको लेकर आवश्यक कार्यवाही की बात भी कही गई थी, वहीँ अब अधिकारियों ने घोटाले की गहराई से जांच करने का आश्वासन दिया है और इस मामले में जल्द ही ठोस कदम उठाए जाने की बात कही है।
घोटाले में अब तक दो एफआईआर दर्ज :
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छत्तीसगढ़ में सीजीपीएससी भर्ती परीक्षा में हुए घोटाले को लेकर अब तक दो एफआईआर दर्ज की जा चुकी है। छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग की भर्ती में गड़बड़ी और भ्रष्टाचार के आरोप में तत्कालीन अध्यक्ष टामन सिंह सोनवानी, सचिव, परीक्षा नियंत्रक और अन्य अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। यह मामला बालोद जिले के अर्जुंदा थाने में दर्ज किया गया है। सीजीपीएससी की परीक्षा में गड़बड़ी की जांच के लिए शासन के निर्देश पर आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ (ईओडब्ल्यू) ने भी केस दर्ज किया है।
मामले के अनुसार छत्तीसगढ़ राज्य सेवा परीक्षा 2021 के अंतर्गत 170 पदों की चयन सूची 11 मई 2023 को जारी की गई थी। इसमें टॉप-15 नामों में भाई-भतीजावाद का आरोप लगा है, बिना किसी योग्यता पदों की बंदरबांट कर दी गई है। 17 मई को भाजपा नेता गौरीशंकर श्रीवास ने राज्यपाल को ज्ञापन सौंपकर पीएससी मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की थी। उल्लेखनीय है कि, PSC में बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़ा और भ्रष्टाचार की घटनाएं सामने आई हैं। इस मामले में कई नेताओं और अधिकारियों के रिश्तेदारों की भर्ती सभी नियमों को दरकिनार करके की गई है। राज्य सरकार ने मामले को गंभीरता से लिया है और जांच CBI को सौंपा है।
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