बुलंदशहर (उ.प्र.) : फिल्मों ने लोगों के दिलों – दिमाग पर संतान की छवि कुछ ज्यादा ही ख़राब कर दी है, जहाँ बागबां में अमिताभ बच्चन की सन्तानों को गलत बताया गया है तो वहीँ जमीनी हकीकत में बेहतर संतानें भी है, क्या आपने कभी अपने माता-पिता के बारे में बेहतर नहीं सोचा? क्या आपने अपनी क्षमता के अनुसार अपने माता-पिता के लिये कुछ नहीं किया? तो आप ऐसा क्यूँ सोचते है कि आपकी संतान आभासी फ़िल्मी दुनियां जैसी निकलेगी? बाकी सबके अपने – अपने कर्म भी होते है। वहीँ हिन्दू शास्त्रों में श्रवण कुमार की कथा बहुत ही प्रचलित है, ऐसे में आज हम आपको आज के श्रवणकुमार के बारे में बताने जा रहे है, कुछ ऐसे ही नेशनल हाईवे 34 पर एक अनोखा नजारा देखने को मिला। यहाँ एक शख्स को अपनी मां को पैदल गाड़ी से ले जाते देख लोगों की निगाहें थम गईं। इन्हें लोगों ने ‘कलयुग का श्रवण कुमार’ नाम दिया है। वह अपनी मां को पैदल गाड़ी से महाकुंभ प्रयागराज ले जा रहे हैं।
मुजफ्फरनगर से चलकर बुलंदशहर होते हुए पैदल गाड़ी से बेटा अपनी 92 साल की बुजुर्ग मां को प्रयागराज महाकुंभ में स्नान करने के लिए ले जा रहा है। ‘श्रवण कुमार’ का नाम चौधरी सुदेश पाल सिंह है। उनकी उम्र 65 साल है। वह अपनी 92 साल की माताजी को अपने हाथ से बनाई हुई पैदल गाड़ी में सवार कर खुद खींचते हुए मुजफ्फरनगर से गए हैं। वह प्रयागराज मां को श्रद्धा की डुबकी लगवाने के लिए जा रहे हैं। उनके इस अद्भुत प्रयास को देखकर लोगों की आँखें भीग गई।
कब होगी यात्रा पूरी :
सुदेश पाल सिंह ने बताया कि उनकी यह यात्रा 13 दिन में पूरी होगी, 25 साल पहले चौधरी सुदेश पाल सिंह के पैर के घुटने खराब हो गए थे, जिसके बाद वह अपनी माता की सेवा किया करते थे। उनकी मां के आशीर्वाद से ही उनके पैर के घुटने ठीक हो गए है, माता-पिता के पैरों में स्वर्ग है। सोशल मीडिया में उनका यह विडियो वायरल हो गया है।
सुदेश पाल ने कहा कि डॉक्टरों ने उनके घुटने को लाइलाज घोषित कर दिया था, लेकिन उन्होंने अपनी मां के चरणों में सेवा कर आशीर्वाद लिया। इसके बाद वह अपने पैरों से चल सके। इससे पहले भी सुदेश अपनी मां को हरिद्वार से अपने कंधों पर गंगाजल लेकर मुजफ्फरनगर पहुंच चुके हैं।
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अब उन्होंने 144 साल बाद आए महाकुंभ में अपनी माता को श्रद्धा की डुबकी लगवाने का प्रण लिया है। उनकी यह पैदल यात्रा 50 से 60 किलोमीटर प्रतिदिन की होती है। रोजाना पैदल गाड़ी में अपनी मां को सवार कर उसे खींचकर प्रयागराज ले जा रहे हैं। जबकि 92 साल की उम्र में उनकी माता हर हर गंगे के नारे लगा रही हैं और सुदेश पाल भी हर हर गंगे के नारे लगाते हुए पैदल गाड़ी खींचकर निकलते हैं। उनके चेहरे पर अद्भुत ख़ुशी है। साथ ही सुदेश पाल मालिक ने भी अपनी ईच्छा जताई है, उन्होंने सीएम योगी आदित्यनाथ से अपील की है कि जिस समय वह अपनी बुजुर्ग मां को कुम्भ में स्नान कराए, उस समय सीएम योगी भी घाट पर मौजूद रहें।